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दाद के घरेलू उपाय / daad(ECZEMA) ke gharelu upchar


दाद क्या है ? ये तो सब जानते हैं। परन्तु शायद ही किसी को इसके घरेलू उपचार के बारे में मालूम हो तो चलिए आज हम आपको दाद के घरेलू उपाय बतातें है जो इस प्रकार हैं :-

दाद के घरेलू उपचार :-

नीबू- दाद को खुजला कर दिन में चार बार नीबू का रस लगाने से दाद ठीक हो जाता है।

गाजर का रस 185 ग्राम, चुकन्दर का रस 250 ग्राम, खीरा या ककड़ी का रस 125 ग्राम मिलाकर पियें।

हल्दी- तीन बार दिन में और एक बार रात में सोते समय हल्दी का लेप करते रहने से दाद ठीक हो जाता है। 

पपीता- पपीते का दूध दाद पर लगाने से लाभ होता है। 

जमीकन्द- इसकी सब्जी निरन्तर लम्बे समय तक खाने से दाद ठीक हो जाता है। 

आलू- कच्चे आलू का रस पीने से दाद ठीक हो जाता है।

अनार- दाद पर अनार के पत्तों को पीसकर लगाने से लाभ होता है।

काली मिर्च- काली मिर्च पीस कर गाय के घी के साथ लेने से सब प्रकार की खुजली एवं दाद ठीक हो जाता है।

केला- दाद हो तो केले के गूदे को नीबू के रस में पीस लें और लगायें, इससे लाभ होता है। लगाने से पहले दाद फूला हुआ लगेगा, लेकिन डरें नहीं, बाँधते रहें। दाद ठीक हो जायेगा।

चना- चने के आटे की रोटी बिना नमक की 64 दिन तक खाने से दाद, खुजली, रक्त-विकार दूर हो जाते है। इसके साथ घी ले सकते है।

गाजर- गाजर का बुरादा, बारीक टुकड़े कर लें। इसमें सेंधा नमक डालकर सेंकें और फिर गर्म-गर्म ही दाद पर बाँध दें। आराम मिलेगा।

लहसुन- दूध पीते हुए बच्चे को दाद हो जाये तो लहसुन को जलाकर इसकी राख शहद में मिलाकर लगाने से लाभ होता हैं। दाद में लहसुन को आन्तरिक सेवन के साथ-साथ लगाना भी चाहिए। 

मूली- मूली के बीजों को नीबू के रस में पीसकर गर्म करके लगायें। प्रथम दिन लगाने पर जलन, दर्द होगा, दूसरे दिन कम होगा। धीरे-धीरे ठीक होगा। यह सूखे, गीले, दोनों प्रकार के दाद में लाभदायक है।

मूँग- छिलके सहित मूँग की दाल इतने पानी में भिगोयें कि वह उस पानी को सोख लें। दो घंटे भीगने के बाद उसे पीसकर दाद, खाज पर लगााने से लाभ होता है। 

अजवाइन- दाद होने पर गर्म पानी में अजवाइन पीस कर लेप करें। अजवाइन को पानी में उबाल कर उससे दाद को धोयें, लाभ होगा।

सिंघाड़ा- नीबू के रस में सूखे सिंघाडे़ को घिस कर लगायें। पहले तो कुछ जलन होगी, फिर ठंडक पड़ जायेगी, कुछ दिन इसे लगाने से दाद ठीक हो जाता है। 

लाल मिर्च- दाद में लाल मिर्च का तेल लगाना लाभदायक है। लाल मिर्च 125 ग्राम, सरसों का तेल 375 ग्राम, इन दोनों को गर्म करें। अच्छी तरह उबलने पर छान लें। यह लाल मिर्च का तेल दाद को ठीक करता है।
नमक- दाद पर हर घण्टे के बाद नमक को पानी में घोल कर लेप करें। एक सप्ताह में दाद ठीक हो जायेगा।

नीम- दाद में नीम के पत्तों का रस 12 ग्राम नित्य पीना चाहिए। अप्रैल के प्रथम सप्ताह में 30 ग्राम नीम की कोपलें (नये निकलने वाले पत्ते) पीसकर पानी मेें मिलाकर नितय पीने से दाद ठीक हो जाता है।

बथुआ- चर्म रोग में नित्य बथुआ उबालकर निचोड़कर इसका रस पीवें तथा सब्जी खावें। उबले हुए पानी में चर्म को धोवें। बथुए के कच्चे पत्ते पीसकर, निचोड़कर रा निकाल लें, दो कप रस में आधा कप तिल का तेल मिलाकर मन्द-मन्द आग पर गर्म करें। जब रस जल कर तेल रह जाये तो छानकर शीषी में भर लें और चर्म रोग पर नित्य लम्बे समय तक लगाते रहें। लाभ होगा।

तुलसी- * दाद में तुलसी के पत्ते का रस 12 ग्राम नित्य पियें।
* दाद पर तुलसी के पत्तों का रस और नीबू का रस समान मात्रा में मिलाकर लगाने से ठीक हो जाता है।
* सौ पत्ते तुलसी के, चैथाई चम्मच नमक, आधा नीबू निचोड़कर पीसकर दाद पर लेप करें।
* सौ पत्ते तुलसी के और 5 कली लहसुन पीस कर दाद पर लेप करें।
* दाद को साफ करके नीबू रगड़े, फिर तुलसी की पत्तियाँ पीस कर लेप करें। इस प्रकार दो बार रोजाना  15 दिन लगायें। दाद ठीक हो जायेगा।