जूतों का किस्मत से रिश्ता / Juton Ka Kismat Se Rishta

जूतों का किस्मत से रिश्ता / Juton Ka Kismat Se Rishta
वैसे तो एक कहावत भी है की जूते ही एक व्यक्ति की छवि बताते हैं। व्यक्ति की पहचान उसके जूतों से होती है।  कोई कितने भी अच्छे कपड़े पहन ले लेकिन अगर उसके जूते ठीक न हों तो व्यक्ति को समाज में महत्व भी नहीं दिया जाता। वास्तु - शास्त्र और ज्योतिष-शास्त्र में मानव जीवन की धुरी हर वस्तु पर किसी न किसी ग्रह को संबोधित करती है। यहां तक की जूतों पर भी किसी न किसी ग्रह का अधिपत्य बताया गया है। 



आइये जाने वास्तु - शास्त्र के अनुसार :- जूतों का किस्मत से रिश्ता / Juton Ka Kismat Se Rishta
 

कभी भी तोहफे में मिले हुए अथवा चुराए हुए जूते नहीं पहनने चाहिए। इसे शनि बाधाएं पैदा कर सकते हैं।

उधड़े और फटे जूते पहनकर नौकरी ढ़ूढ़ने न जाएं, असफलता मिलेगी।


चिकित्सा और लोहे से संबंधित जातको को कभी भी सफेद जूते नहीं पहनने चाहिए।

जल से संबंधित और आयुर्वैदिक कामों से जुड़े लोगो को नीले रंग के जूते नहीं पहनने चाहिए।

आफिस या कार्यक्षेत्र में भूरे जूते पहनकर जाने से व्यक्ति के कामों में बाधाएं उत्पन्न हो जाती हैं।

कॉफी रंग के जूते बैंक कर्मियों और अध्ययन क्षेत्र से जुड़े लोगो को नहीं पहनने चाहिए।

कुछ ऐसे जुते जो दुर्भाग्य का सूचक होते हैं जिनको पहनने से व्यक्ति के जीवन में आर्थिक और कार्यक्षेत्र से संबंधित समस्याएं उत्पन्न हो जाती हैं। ऐसे जूतों के दोष के कारण यह जूते अशुभ माने या हो जाते हैं।