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महिलाओं को फिट रहने के लिए क्या-क्या करना चाहिए...?

आज के समय में महिलाएं अक्सर अपनी सेहत का सही प्रकार से ध्यान ही नहीं रख पातीं। जिसके करण उन में कई समस्याएं हो जाती हैं। कामकाजी महिलाओं के लिए यह समस्या  और भी अधिक होती है क्योंकि घर और दफ्तर के बीच सही तालमेल बैठा पाना कोई आसान काम नहीं। लेकिन, इन कुछ बातों का ध्यान रख वे अपने स्वास्थय  का सही प्रकार से ध्याान रख सकती हैं।


आइये जानतें है कुछ खास बातें जो महिलाओं को फिट बना सकती है :-




वजन कम करें :
अगर आप मोटापे को लेकर परेशान हैं और अपना वजन कम करने के लिए जिम या हेल्थ सेंटर्स के चक्कर लगाने के अलावा डाइटिंग भी कर रही हैं तो अब आपके लिए एक खुशखबरी है। एक शोध से पता चला है कि घर बैठकर भोजन करते हुए भी आप अपने वजन पर काफी हद तक नियंत्रण रख सकती हैं। इसके लिए बस आपको पहले दस मिनट तक भोजन धीरे-धीरे और चबाकर खाना होगा।  इसके तुरंत बाद आपका दिमाग वजन कम करने की प्रक्रिया शुरू कर देगा और आप भूख से अधिक नहीं खाएंगी। इसका परिणाम कुछ ही दिनों में आपके सामने आ जाएगा।

फुर्ती से करे काम :
फुर्ती से काम करने में अधिक ऊर्जा खर्च होती है। इससे शरीर की अतिरिक्तब चर्बी भी खत्मह होगी।


थोड़ा-थोड़ा खाएं :
एक ही बार भरपेट खाने से अच्छाि है कि थोड़ी-थोड़ी देर बाद कुछ न कुछ खाती रहें। लेकिन खाते समय इस बात का जरूर ध्यालन रखें कि वह पौष्टिक हो। तला-भुना खाना आपके लिए नुकसानदायक हो सकता है। दफ्तर में शाम को अगर भूख लगे तो हेल्थीि स्नैहक्सि का ही सहारा लें।

दांतों का दुश्मन सोडा : 
बचपन से सुनते आई होंगी कि सोडा से दांत खराब होते है। इसको ज्यादा नही पीना चाहिए और अब इस बात की पुष्टि डॉक्टरों ने भी कर दी है। नेशनल हेल्थ एंड न्यूट्रीशन एक्जामिनेशन सर्वे के अनुसार जो लोग दिन में तीन से चार बार सोडा पीते हैं उनके दांतों के खराब होने के खतरा 62 प्रतिशत अधिक होता हैं। ऐसे व्यक्तियों में दांतों के टूटना, उनके पीलेपन व दांतों में गड्ढे पड़ने की संभावना अधिक हो जाती है।

ब्रेक लें :
कुछ लोग दिन भर बैठकर कंप्यूटर के सामने सारा समय बिताते हैं जो स्वास्थ्य के लिए नुकसानदेह हो सकता है। अगर आपके साथ भी ऐसा है तो लगातार एक जगह चिपककर ना बैठें, थोड़ी-थोड़ी देर में खड़ी होकर टहलें, हाथ-पैरों को भी हिलाएं व थोड़ा सा हलका-फुलका व्यायाम भी करें। हर बीस मिनट के बाद दूर जगह पर दृष्टि डालें, नजर टिका कर देखने की कोशिश करें। रोशनी बहुत ज्यादा न रहे, तेज रोशनी आंखों में तनाव पैदा करती है। यदि सीधे इससे बचत संभव न हो तो इसके लिए चमक रहित स्क्रीन अपने मॉनीटर पर लगाएं। बार-बार पलकें भी झपकाएं, यह आंखों की अच्छी एक्सरसाइज होती है।

तनाव से बचें :
आजकल तनाव या कुंठा होने का कोई सीधा कारण नहीं होता। घर से ऑफिस पहुंचने की चिंता, काम समय पर खत्म करने की चिंता, बस में भीड़-भाड़ की घबराहट या फोन कनेक्ट न हो पाने की चिड़चिड़ाहट बहुत सारी वजहें हैं जो व्यर्थ ही तनाव को पैदा करती हैं। इसका असर पूरी दिनचर्या पर पड़ता है। अब जानकारों ने इसका आसान हल बताया है कि अपने गुस्से को अंदर दबा कर न रखे, बल्कि बाहर निकालें। ऐसे काम करें जिससे आप तनाव वाली बातों को भुला सकें जैसे लंबी सैर पर जाएं, किसी मनोरंजक खेल को खेलें या फिर बागवानी में ध्यान लगाएं। 


पैदल चलें :
फिट रहने के लिए पैदल चलना भी अतिआवश्यक हैं। और ऑफिस में अगर संभव हो तो लिफ्ट की जगह पर सीढि़यों का प्रयोग करें। अपने घर से बस स्टॉभप अथवा मेट्रो तक पैदल जाएं। अगर वक्त  मिले तो अपनी सोसायटी के पार्क में टहलने जाएं। इन सबसे आपको मानसिक और शारीरिक दोनों प्रकार के लाभ होंगे।

तेज चलना :
धीरे-धीरे चलना छोडिए और तेज चलिए। क्योकि तेज चलने से आपके शरीर में रक्तक संचार बढ़ता है और इससे आपकी सेहत पर सकारात्म्क प्रभाव पड़ता है।

ब्लड प्रेशर पर नियन्त्रण :
अपनी अच्छी व मीठी यादों को याद कर आप अपने खुशनुमा पलों को ताजा कर सकती हैं। इससे आपका खराब मूड तो सुधरेगा ही और साथ-साथ रक्तचाप भी नियंत्रित होगा, ऐसा शोधकर्ताओं का मानना है। जब भी कभी नेगेटिव थिकिंग हावी होने लगे तो खुशनुमा पलों को याद करें। कैलिफोर्निया में हुए अध्ययन के अनुसार, “ऐसी घटनाओं को सोच कर जिनसे आपका चेहरा तमतमा उठे या गुस्सा आने लगे”, आपका ब्लड प्रेशर बढ़ाएगा, दिल का रोगी बनने में भी देर नहीं लगेगी। इसलिए दूर कीजिए उन दुखद यादों को और याद कीजिए खुशनुमा पलों को।